Friday, September 8, 2017

ट्विटरवरून चालवण्यात आलेल्या #BlockNarendraModi या मोहिमेचा उलटाच परिणाम झालेला दिसतोय.



ज्येष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश यांच्या हत्येच्या पार्श्वभूमीवर, गुरुवारी दिवसभर ट्विटरवरून चालवण्यात आलेल्या #BlockNarendraModi या मोहिमेचा उलटाच परिणाम झालेला दिसतोय. पंतप्रधान नरेंद्र मोदींच्या फॉलोअर्सच्या संख्येत काल लक्षणीय वाढ झाली आहे.

@narendramodi हे पंतप्रधान मोदींचं ट्विटर हँडल फॉलो करणाऱ्यांची संख्या बुधवारपर्यंत ३३.७ दशलक्ष इतकी होती. ती आता ३३.८ दशलक्ष झाली आहे. म्हणजेच, काल दिवसभरात जवळपास लाखभर ट्विपल्सनी मोदींना फॉलो करण्यास सुरुवात केलीय.

गौरी लंकेश यांच्या हत्येनंतर काहींनी ट्विटरवरून आनंद व्यक्त केला होता. त्यापैकी चौघांना पंतप्रधान मोदी 'फॉलो' करत असल्याचं निदर्शनास आल्यानं अनेकांच्या भुवया उंचावल्या होत्या. त्याच्याच निषेधार्थ 'ब्लॉक मोदी' मोहीम सुरू करण्यात आली होती. ती नेमकी कुणी सुरू केली, हे स्पष्ट झालेलं नाही. मात्र, काँग्रेसशी संबंधित व्यक्ती, काँग्रेस समर्थकांचा या मोहिमेत पुढाकार होता. अनेकांनी मोदींना ब्लॉक करून आपला संताप व्यक्त केला. तर काहींनी, या असल्या मोहिमा प्रभावी नसल्याचं मत मांडलं. मोदींच्या फॉलोअर्सची वाढलेली संख्या पाहता, ही मोहीम भाजपच्या पथ्यावरच पडल्याचं बोललं जातंय.

Monday, August 28, 2017

PM मोदी के दौरे से पहले सुलझा डोकलाम विवाद, झुका चीन



नई दिल्ली/बीजिंगः सिक्किम की सीमा के समीप डोकलाम क्षेत्र में भारत एवं चीन की सेनाओं के बीच बीते करीब अढ़ाई महीने से बना गतिरोध समाप्त हो गया है। दोनों देशों के वहां से अपनी सेनाएं हटाने पर सहमति के साथ यह प्रक्रिया आरंभ हो गई है। विदेश मंत्रालय ने आज यहां एक बयान में कहा कि हाल के सप्ताहों में भारत एवं चीन के बीच डोकलाम की घटना को लेकर राजनयिक संवाद चला जिसमें भारत अपनी चिंताओं एवं हितों को चीन को सूचित करने एवं अपने विचारों से अवगत कराने में समर्थ रहा है।



धीरे-धीरे सेनाएं पीछे हटना शुरू 
बयान में कहा गया है कि इस आधार पर डोकलाम क्षेत्र में सैनिकों को आमने-सामने से तत्परता से हटाने को लेकर सहमति बनी है और अब यह प्रक्रिया आरंभ हो गई है। भारतीय सेना के सूत्रों ने भी बताया कि डोकलाम से दोनों देशों की सेनाओं को हटाया जाना शुरू हो गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिये अगले सप्ताह होने वाली चीन यात्रा के पहले इस विवाद का सुलझ जाना भारतीय कूटनीति की कामयाबी मानी जा रही है। 



अढ़ाई महीने चला विवाद 
उल्लेखनीय है कि जून में भूटान एवं चीन के बीच विवादित डोकलाम क्षेत्र में चीन द्वारा एकतरफा ढंग से सड़क निर्माण के प्रयास का भूटानी सेना ने विरोध जताया था और चीनी सेना के उसे नहीं मानने पर भूटानी सेना के संकेत के बाद भारतीय सेना ने 16 जून को आगे बढ़कर चीनी सेना को रोका था। करीब अढ़ाई माह में दोनों देशों की सेनाओं के आमने-सामने आ खड़े होने से विश्व की दो उभरती आर्थिक महाशक्तियों के बीच गहरा तनाव उत्पन्न हो गया था।

Tuesday, August 22, 2017

तीन तलाक की प्रथा खत्म, सुप्रीम कोर्ट का ऐतिहासिक फैसला

नई दिल्ली. 1400 साल पुरानी तीन तलाक की प्रथा पर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को ऐतिहासिक फैसला सुनाया। 5 जजों की बेंच ने 3:2 की मेजॉरिटी से कहा कि तीन तलाक वॉइड (शून्य), अनकॉन्स्टिट्यूशनल (असंवैधानिक) और इलीगल (गैरकानूनी) है। बेंच में शामिल दो जजों ने कहा कि अगर सरकार तीन तलाक को खत्म करना चाहती है तो वो इस पर 6 महीने के भीतर कानून लेकर आए। मंगलवार देर शाम सरकार ने इस पर अपना स्टैंड क्लियर कर दिया। लॉ मिनिस्टर रविशंकर प्रसाद ने कहा SC के फैसले में असंवैधानिक बताए जाने के बाद तीन तलाक के लिए कानून बनाने की जरूरत नहीं है। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट को ये तय करना था कि तीन तलाक महिलाओं के संवैधानिक अधिकारों का हनन करता है या नहीं? यह कानूनी रूप से जायज है या नहीं और तीन तलाक इस्लाम का मूल हिस्सा है या नहीं? मई में इस मामले में छह दिन सुनवाई हुई थी। इसके बाद मंगलवार को फैसला आया। 

Q&A में समझें फैसले को...
1) चीफ जस्टिस खेहर ने तीन तलाक पर क्या कहा?
- चीफ जस्टिस जेएस खेहर ने कहा, "तीन तलाक मुस्लिम धर्म की रवायत है, इसमें ज्यूडिशियरी को दखल नहीं देना चाहिए। अगर केंद्र तीन तलाक को खत्म करना चाहता है तो 6 महीने के भीतर इस पर कानून लेकर आए और सभी पॉलिटिकल पार्टियां इसमें केंद्र का सहयोग करें।"
- बेंच ने अपने फैसले में कहा कि जब कई इस्लामिक देशों में तीन तलाक की प्रथा खत्म हो चुकी है तो आजाद भारत इससे निजात क्यों नहीं पा सकता?
2) तीन तलाक किस वजह से असंवैधानिक?
- यह बेंच पांच जजों की थी। चीफ जस्टिस जेएस खेहर और जस्टिस अब्दुल नजीर इस पक्ष में नहीं थे कि तीन तलाक को असंवैधानिक करार दिया जाए। वहीं, जस्टिस आरएफ नरीमन, जस्टिस यूयू ललित और जस्टिस कुरियन जोसेफ ने तीन तलाक को असंवैधानिक करार दिया। इन तीन जजों ने कहा कि तीन तलाक की परंपरा मर्जी से चलती दिखाई देती है, ये संविधान का उल्लंघन है। इसे खत्म होना चाहिए।
3) कानून बनाने पर केंद्र का क्या स्टैंड है?
- कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, "फैसला पढ़ने के बाद पहली नजर में ही ये साफ हो जाता है कि सुप्रीम कोर्ट की बेंच में मेजॉरिटी ने तीन तलाक को असंवैधानिक और गैरकानूनी कहा है।"
- सरकार के सीनियर ऑफिशियल ने न्यूज एजेंसी से कहा, "SC के ऑर्डर के बाद अगर कोई पति तीन तलाक देता है तो इसे वैध नहीं माना जाएगा। विवाह के लिए उसकी जिम्मेदारियां बनी रहेंगी। पत्नी को भी पूरी आजादी रहेगी कि ऐसे शख्स को वो पुलिस के हवाले कर दे और उसके खिलाफ डोमेस्टिक वायलेंस या फि हैरेसमेंट का केस करे।"
- एक टीवी चैनल पर रविशंकर प्रसाद ने कहा, "अगर चर्चा के बाद ऐसा लगता है कि कहीं कोई गैप है और कुछ छूट रहा है तो उसके लिए मंच खुला है। हम विचार करेंगे।"
4) ऐसे समझें जजों का फैसला
- तीन तलाक की विक्टिम और पिटीशनर अतिया साबरी के वकील राजेश पाठक ने DainikBhaskar.com को बताया कि बेंच ने 3:2 की मेजॉरिटी से तीन तलाक को खारिज और गैर-कानूनी करार दिया। 
- वहीं, वकील सैफ महमूद के मुताबिक, चीफ जस्टिस ने कहा कि पर्सनल लॉ से जुड़े मुद्दों को न तो कोई संवैधानिक अदालत छू सकती है और न ही उसकी संवैधानिकता को वह जांच-परख सकती है। वहीं, जस्टिस नरीमन ने कहा कि तीन तलाक 1934 के कानून का हिस्सा है। उसकी संवैधानिकता को जांचा जा सकता है। तीन तलाक असंवैधानिक है।
5) क्या है पिटीशनर्स और लॉ एक्सपर्ट्स की राय?
शायरा बानो
- फरवरी 2016 में उत्तराखंड की रहने वाली शायरा बानो (38) वो पहली महिला बनीं, जिन्होंने ट्रिपल तलाक, बहुविवाह (polygamy) और निकाह हलाला पर बैन लगाने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में पिटीशन दायर की। शायरा को भी उनके पति ने तीन तलाक दिया था।
- शायरा ने DainikBhaskar.com से कहा, ''जजमेंट का स्वागत और समर्थन करती हूं। मुस्लिम महिलाओं के लिए बहुत ऐतिहासिक दिन है। कोर्ट ने मुस्लिम समुदाय को बेहतर दिशा दे दी है। अभी लड़ाई खत्म नहीं हुई है। समाज आसानी से इसे स्वीकार नहीं करेगा। अभी लड़ाई बाकी है। इस फैसले से मुस्लिम समाज की महिलाओं को प्रताड़ना, शोषण और दुखों से आजादी मिलेगी। पुरुषों को महिलाओं के हालात को देखते हुए इसे स्वीकार करना चाहिए।''
मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड
- मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने कहा- इस मसले पर कानून लाने की जरूरत नहीं है। बोर्ड अपने कानून के हिसाब से चलता है। बोर्ड अब 10 सितंबर को भोपाल में बैठक कर आगे की रणनीति तय करेगा।
- इससे पहले बोर्ड ने माना था कि वह सभी काजियों को एडवायजरी जारी करेगा कि वे तीन तलाक पर न सिर्फ महिलाओं की राय लें, बल्कि उसे निकाहनामे में शामिल भी करें। 
- वहीं, ऑल इंडिया मुस्लिम वुमन्स पर्सनल लॉ बोर्ड की प्रेसिडेंट शाइस्ता अंबर ने तीन तलाक को गैर-कानूनी करार देते सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर खुशी जाहिर की है।
लॉ एक्सपर्ट
- लॉ एक्सपर्ट संदीप शर्मा ने DainikBhaskar.com को बताया- ''मुस्लिम पर्सनल लॉ में बदलाव की जरूरत है। शायरा बानो ने जो मुद्दा उठाया है, वह अहम है। तीन तलाक के मौजूदा प्रावधान में बदलाव होना ही चाहिए। पाकिस्तान, बांग्लादेश और यूएई जैसे देशों में तीन तलाक कानून बदल चुका है, फिर हमारे यहां क्यों नहीं? कॉमन सिविल कोड बाद की बात है, पहले पर्सनल लॉ में बदलाव तो हो। एक-एक कर बदलाव किए जा सकते हैं।'' 
- ''पहले हिंदुओं में भी बहुविवाह प्रथा थी। 1956 में कानून में बदलाव कर हिंदू विवाह कानून के तहत एक विवाह का नियम बनाया गया। मुस्लिम पर्सनल लॉ में भी अगर बदलाव की जरूरत है तो होनी चाहिए। महिलाएं चाहें किसी भी धर्म की हों, उन्हें सुरक्षा मुहैया कराना संवैधानिक जिम्मेदारी है। संविधान समानता की बात करता है और अगर पर्सनल लॉ इसमें आड़े आता है तो उसे भी बदला जा सकता है। शादी चाहे किसी भी तरीके से हो, उसके बाद की स्थिति, तलाक और गुजारा भत्ता का मामला एक समान होना चाहिए।''
6) तलाक-ए-बिद्दत पर सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
- चीफ जस्टिस जेएस खेहर ने अपने फैसला में कहा कि तलाक-ए-बिद्दत सुन्नी कम्युनिटी का हिस्सा है। यह 1000 साल से कायम है। तलाक-ए-बिद्दत संविधान के आर्टिकल 14, 15, 21 और 25 का वॉयलेशन नहीं करता।
7) क्या है तलाक-ए-बिद्दत?
- तलाक-ए-बिद्दत यानी एक ही बार में तीन बार तलाक कह देना। ऐसा तलाकनामा लिखकर किया जा सकता है या फिर फोन से या टेक्स्ट मैसेज के जरिए भी किया जा सकता है। इसके बाद अगर पुरुष को यह लगता है कि उसने जल्दबाजी में ऐसा किया, तब भी तलाक को पलटा नहीं जा सकता। तलाकशुदा जोड़ा फिर हलाला के बाद ही शादी कर सकता है।
8) क्या है तीन तलाक, निकाह हलाला और इद्दत?
- ट्रिपल तलाक यानी पति तीन बार ‘तलाक’ लफ्ज बोलकर अपनी पत्नी को छोड़ सकता है। निकाह हलाला यानी पहले शौहर के पास लौटने के लिए अपनाई जाने वाली एक प्रॉसेस। इसके तहत महिला को अपने पहले पति के पास लौटने से पहले किसी और से शादी करनी होती है और उसे तलाक देना होता है। 
- सेपरेशन के वक्त को इद्दत कहते हैं। बहुविवाह यानी एक से ज्यादा पत्नियां रखना। कई मामले ऐसे भी आए, जिसमें पति ने वॉट्सऐप या मैसेज भेजकर पत्नी को तीन तलाक दे दिया।
9) सुप्रीम कोर्ट में कितनी पिटीशंस दायर हुई थीं?
- मुस्लिम महिलाओं की ओर से 7 पिटीशन्स दायर की गई थीं। इनमें अलग से दायर की गई 5 रिट-पिटीशन भी थीं। इनमें दावा किया गया कि तीन तलाक अनकॉन्स्टिट्यूशनल है।
क्या है भारत में तलाकशुदा मुस्लिम महिलाओं की स्थिति?
- देश में मुस्लिमों की आबादी 17 करोड़ है। इनमें करीब आधी यानी 8.3 करोड़ महिलाएं हैं। 
- 2011 के सेंसस पर एनजीओ 'इंडियास्पेंड' के एनालिसिस के मुताबिक, भारत में अगर एक मुस्लिम तलाकशुदा पुरुष है तो तलाकशुदा मुस्लिम महिलाओं की संख्या 4 है। भारत में तलाकशुदा महिलाओं में 68% हिंदू और 23.3% मुस्लिम हैं।
10) मामले में पक्ष कौन-कौन थे?
केंद्र
: इस मुद्दे को मुस्लिम महिलाओं के ह्यूमन राइट्स से जुड़ा मुद्दा बताता है। ट्रिपल तलाक का सख्त विरोध करता है। 
पर्सनल लॉ बाेर्ड: इसे शरीयत के मुताबिक बताते हुए कहता है कि मजहबी मामलों से अदालतों को दूर रहना चाहिए। 
जमीयत-ए-इस्लामी हिंद: ये भी मजहबी मामलों में सरकार और कोर्ट की दखलन्दाजी का विरोध करता है। यानी मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के साथ खड़ा है। 
मुस्लिम स्कॉलर्स: इनका कहना है कि कुरान में एक बार में तीन तलाक कहने का जिक्र नहीं है।
बेंच में हर धर्म के जज थे
- बेंच में चीफ जस्टिस जेएस खेहर, जस्टिस कुरियन जोसेफ, जस्टिस आरएफ नरीमन, जस्टिस यूयू ललित और जस्टिस अब्दुल नजीर शामिल थे। इस बेंच की खासियत यह थी कि इसमें हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई और पारसी धर्म को मानने वाले जज शामिल थे।

Monday, June 12, 2017

सहकार राज्यमंत्र्यांनी राजीनामा देण्याची मागणी

सहकार राज्यमंत्र्यांनी राजीनामा देण्याची  मागणी


(प्रतिनिधी) –  भारताचे पंतप्रधान नरेंद्र मोदी यांची नक्कल करुन खिल्ली उडवणारे राज्याचे सहकार राज्यमंत्री गुलाबराव पाटील यांनी राजीनामा द्यावा, अशी मागणी नरेंद्र मोदी विचार मंचाच्या वतीने करण्यात आली आहे.
याबाबत प्रसिध्दीस दिलेल्या पत्रकात म्हटले आहे की, महाराष्ट्रात भाजप- शिवसेना युतीचे सरकार असताना राज्याचे सहकार राज्यमंत्री गुलाबराव पाटील प्रधानमंत्री मोदी यांची वारंवार बदनामी करत आहेत. काही दिवसापूर्वी गुलाबराव पाटील यांनी पंतप्रधान मोदी यांची एका जाहीर सभेत नक्कल करुन खिल्ली उडवली होती. तसेच काल (शुक्रवार) पाटील यांनी शेतकऱ्यांच्या आंदोलनाबाबत भाजपवर टीका केली होती.
भाजप शेतकरी आंदोलनात फूट पाडत आहे, असे वक्तव्य मंत्री पाटील यांनी केले आहे. पंतप्रधान मोदी यांच्या विरोधात अपप्रचार करण्यापेक्षा गुलाबराव पाटील यांनी आपली पात्रता तपासावी. 420 च्या गुन्ह्यातून जामिनावर बाहेर आलेल्या पाटील यांनी स्वत:हून राजीनामा द्यावा. अन्यथा पाटील यांच्याविरोधात संपूर्ण महाराष्ट्रभर तीव्र आंदोलन करण्यात येईल, असा इशारा मंचाचे प्रदेश अध्यक्ष प्रमोद परदेशी यांनी दिला आहे.

Wednesday, June 7, 2017

3 Way To Contact Prime Minister Narendra Modi - PMO India - Contact Details Of Narendra Modi



Are your searching for contact information or address details of Indian Prime Minister on various plateform.Are you having any question or query for Narendra Modi. Here we mentioned about how to contact Narednra Modi via different plateform.


How To Contact Prime Minister Narendra Modi ?


If you have some thing to ask or say to  Prime Minister or you are searching for contact information of Indian Prime Minister Narendra Modi. Narendra Modi current  is serving as Prime Minister of India .we are giving complete detail about contact information of Narendra modi so that you can contact him. You can contact him via several methods given below :


 1.You Can Contact Prime Minister Via Their Official Website :


  • You can contact PM Marendra Modi directly via their officail. This Official portal  http://pmindia.gov.in/en/interact-with-honble-pm/  is designed by PM staff for people of India to interact with Prime minister Narendra Modi You just login to his official websites by clicking on given link and then register yourself to contact  Prime minister Office India.
  • You can contact Narendra Modi for sharing idea and your queries and quesions . My govt portal is a place or plateform for people of nation. you just have to registered  yourself at or http://mygov.nic.in portal and give suggestion or idea and ask your queries or questions. 
  • You can also write or file RTI for your query . Appliocation seeking information under the RTI act 2005 shall be accompanied by a fee rupee 10 either in cash deposited with the Cashier or PMO in person Demand Draft in favor of the " section officer , Prime Misister Office .you can visitPMO India RTI page for More inforamtion .


2. You Contact To PM Via Social Media /E-Mail :


  • You can email to Prime Minister Narendra Modi's email ID narendramodi1234@gmail.com 

  • You can contact or message to PM via Tweeter handle .You can also mention your tweet at@PMOIndia or @Narendramodi.

  • You can also contact or post your query to PM via their facebook page : Narendra Modi .


  • You can contact Narenrda Modi on 

      Instagram Narendra Modi
    Linkedin  Narendra Modi
    and weibo  Narendra Modi
    Download Narendra Modi android App  

3. You Can Write To PM 


To share any idea or ask any question or query you can write letter and send  dircetly to Prime minister official address given below :

Web Inforamation Manager 

South Block, Raisina Hill


New Delhi -110011


Phone Number - +91-11-23012312


Fax - +91-11-23019545 , 23016857


You can also call or fax to Prime Minister of India.For further queries you can visit http://pmindia.gov.in.when you are writing letter to PM just write " Honrable Prime minister of India " 7 Race Course Road on address and then send it to PM . Your letter will reach to PM Narendra Modi.




Regards,
Pramod Pardeshi

Friday, March 17, 2017

राष्ट्र के पुननिर्माण और विकास के जन आंदोलन बनाणे के लिये नरेन्द्र मोदी विचार मंच से जूडे.....



Image may contain: 7 people, people smiling, text

अंतराष्ट्रीय महिला दिवस INTERNATIONAL WOMEN'S DAY.

अंतराष्ट्रीय महिला दिवस INTERNATIONAL WOMEN'S DAY.

Image may contain: 1 person, text

No automatic alt text available.

No automatic alt text available.

उत्तर प्रदेश मे रहना हे तो मोदी मोदी कहना हे. उत्तर प्रदेश की जनता का हृदय से वंदन



Image may contain: 9 people, people smiling, text

भारतीय जनता पार्टी १४ राज्यामध्ये १ न. चा पक्ष



श्रीमंत सुभेदार थोरले मल्हारराव होळकर यांच्या जयंतीनिमित्त त्रिवार अभिवादन




नवी दिल्ली : पालकांच्या नावावर असलेले वाहन त्यांच्या अल्पवयीन अपत्याने चालवून अपघात केल्यास पालकांना जबाबदार धरून त्याबद्दल त्यांना तीन वर्षांची कैद व २५ हजार रुपये दंड करून, त्याशिवाय संबंधित वाहनाची नोंदणी कायमसाठी रद्द करण्याची नवी तरतूद मोटार वाहन कायद्यात करण्यास केंद्रीय मंत्रिमंडळाने बुधवारी मंजुरी दिली. भारतात दरवर्षी ५ लाख रस्ते अपघात होतात व त्यात १.५ लोकांचे हकनाक प्राण जातात. या पार्श्वभूमीवर रस्ते वाहतूक सुरक्षित व्हावी, लोकांनी वाहने जबाबदारीने चालवावित आणि रस्ते अपघातांत जखमी/ मृत होणाऱ्यांना लवकर न्याय आणि भरीव भरपाई मिळावी यासाठी सध्याच्या मोटार वाहन कायद्यात दुरुस्त्या करण्याच्या विधेयकास मंत्रिमंडळाने मंजुरी दिली. त्यानुसार या कायद्याच्या एकूण २२३ पैकी ६८ कलमांमध्ये दुरुस्ती करण्यात येणार आहे, तर २८ कलमे पूर्णपणे नव्याने समाविष्ट करण्यात येणार आहेत. सुधारित कायद्याच्या तरतुदींमध्ये 'हिट अ‍ॅण्ड रन' प्रकरणांत दोन लाख रुपये भरपाई देणे व अपघातात मृत्यू झाल्यास १० लाख रुपयांपर्यंत भरपाई देण्याचा समावेश आहे. विविध प्रकारच्या वाहतूक गुन्ह्यांसाठी जे दंड सुचविलेले आहेत, त्याच्या दसपट दंड आकारण्याची मुभाही राज्य सरकारांना देण्याची तरतूद आहे. परिवहन विभागाकडून अधिक चांगल्या सेवा देण्यासाठी सुधारित कायद्यात 'ई-गव्हर्नन्स'वर भर देण्यात आला आहे. त्यानुसार शिकाऊ वाहन परवाना आॅनलाइन मिळेल, वाहन परवान्यांची मुदत अधिक केली जाईल व परिवहन परवान्यासाठी शिक्षणाची कोणतीही किमान अट असणार नाही. वाहन नोंदणी व परवाना प्रक्रिया अधिक समन्वित व्हावी, यासाठी 'वाहन' आणि 'सारथी' या ई-प्लॅटफॉर्मवरून या दोन्हींचे राष्ट्रीय रजिस्टर तयार करणेही प्रस्तावित आहे. (लोकमत न्यूज नेटवर्क) >रस्ते सुरक्षा व परिवहन क्षेत्रात या नव्या कायद्याने आजवरची सर्वात मोठी सुधारणा घडून येईल. हे कायदा दुरुस्ती विधेयक संसदेत पुढील आठवड्यात येईल व देशात सुरक्षित आणि लोकस्नेही अशी परिवहन व्यवस्था निर्माण होण्यासाठी सर्व पक्ष त्यास पाठिंबा देतील, याची मला खात्री आहे. -नितीन गडकरी, केंद्रीय परिवहनमंत्री >दंड आकारणीचे नवे दर विनातिकीट प्रवास रु. ५०० विनापरवाना वाहन रु. ५,००० विनापरवाना ड्रायव्हिंग रु. ५,००० ड्रंकन ड्रायव्हिंग रु. १०,००० मर्यादेबाहेर मालवाहतूक रु. २०,००० मर्यादेबाहेर प्रवासी रु. १,००० (प्रतिप्रवासी) सीटबेल्ट न लावणे रु. १,००० हेल्मेट न घालणे रु. १,००० (तीन महिने परवाना स्थगित) बेदरकार ड्रायव्हिंग रु. ५,००० विनाविमा गाडी चालविणे रु. २.००० >याखेरीज रुग्णवाहिका, अग्निशमन दलाचे बंब अशा आपत्कालीन वाहनांना रस्त्यात वाट करून न देणाऱ्या वाहन चालकास १० हजार रुपयांचा दंड होईल.

राज्य अर्थसंकल्पाचे संकेतस्थळावर लाईव्ह स्ट्रीमिंग

Capture

राज्याचा सन २०१७-१८ सालचा अर्थसंकल्प उद्या दि. १८ मार्च २०१७ रोजी विधिमंडळाच्या दोन्ही सभागृहात दुपारी २.०० वाजता सादर होईल. वित्त व नियोजन मंत्री सुधीर मुनगंटीवार हे विधानसभेत तर वित्त व नियोजन राज्यमंत्री दिपक केसरकर हे विधान परिषदेत अर्थसंकल्प सादर करतील. अर्थसंकल्पाचे थेट प्रक्षेपण http://www.mahafinance.co.in/live या संकेतस्थळाच्या माध्यमातूनही उपलब्ध करून देण्यात आले आहे.
राज्य विधिमंडळात उद्या दि. १८ मार्च २०१७ रोजी राज्याचा सन २०१७-१८ चा अर्थसंकल्प सादर होईल. तत्पूर्वी राज्याचे वित्त व नियोजन मंत्री सुधीर मुनगंटीवार व वित्त व नियोजन राज्यमंत्री दिपक केसरकर यांनी आज अर्थसंकल्पावरून शेवटचा हात फिरवला. त्याक्षणीची छायाचित्रे

Monday, January 9, 2017

भीम एप (BHIM App) कैशलेस लेनदेन के लिए कैसे डाउनलोड व उपयोग करें

भीम एप (BHIM – Bharat Interface for Money) भारत सरकार द्वारा 30 दिसंबर 2016 को शुरू की गयी UPI आधारित एक नयी एंड्राइड स्मार्टफोन एप्लीकेशन है। इस नयी UPI आधारित भुगतान app को गूगल प्ले स्टोर (https://play.google.com) से डाउनलोड कर सकते हैं। भीम app को तेजी से और सुरक्षित कैशलेस लेनदेन के काबिल करने के लिए भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (National Payment Corporation of India) द्वारा विकसित किया गया है।

भीम एप डाउनलोड

भीम APP को play.google.com पर जाकर या अपने एंड्रॉयड स्मार्टफोन में प्ले स्टोर एप्लिकेशन पर जाकर डाउनलोड किया जा सकता है, या आप बस नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक भी कर सकते हैं।

भीम एप का उपयोग कैसे करें

अभी भीम एप में केवल UPI से जुड़े हुए बैंकों के द्वारा लेनदेन की सुविधा उपलब्ध है। ऐसे सभी बैंकों की सूची नीचे दी गयी है।
अलाहबाद बैंक
इंडियन ओवरसीज बैंक
आंध्रा बैंक
इंडसंड बैंक
एक्सिस बैंक
कर्नाटका बैंक
बैंक ऑफ़ बड़ौदा
करूर वैस्य बैंक
बैंक ऑफ़ महाराष्ट्र
कोटक महिंद्रा बैंक
केनरा बैंक
ओरिएन्टल बैंक ऑफ़ कॉमर्स
कैथोलिक सीरियन बैंक
पंजाब नेशनल बैंक
सेंट्रल बैंक ऑफ़ इंडिया
RBL बैंक
DCB बैंक
साउथ इंडियन बैंक
देना बैंक
स्टैण्डर्ड चार्टर्ड बैंक
फ़ेडरल बैंक
स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया
HDFC बैंक
सिंडिकेट बैंक
ICICI बैंक
यूनियन बैंक ऑफ़ इंडिया
IDBI बैंक
यूनाइटेड बैंक ऑफ़ इंडिया
IDFC बैंक
विजय बैंक
इंडियन बैंक
जो बैंक अभी तक UPI से नहीं जुड़े हैं उनके खातों में भी IFSC कोड अथवा MMID के माध्यम से पैसे भेजे जा सकते हैं।
शुरू में, लोगों को पैसे भेजने और मंगाने के लिए UPI का उपयोग करना होगा लेकिन बाद में आधार आधारित भुगतान प्रणाली का उपयोग भी एप्लिकेशन से जोड़ दिया जाएगा।
एक बार आधार आधारित प्रणाली जोड़ी गये तो लोगों को Cashless भुगतान करने के लिए फोन की भी आवश्यकता नहीं होगी। आधार आधारित प्रणाली का परीक्षण किया जा रहा है और अगले कुछ हफ्तों के भीतर इसे भीम एप से जोड़े जाने की उम्मीद है।
भीम एप में आधार आधारित प्रणाली से जुड़ते ही इंटरनेट कनेक्शन की आवश्यकता भी नहीं होगी, सिर्फ अपने अंगूठे के निशान की आवश्यकता होगी। आपका अंगूठा ही कैशलेस लेनदेन के लिए आपके बैंकिंग पासवर्ड का काम करेगा। एक उन्नत USSD मंच के माध्यम से APP फीचर फोन पर भी काम करेगी।
पैसे भेजने और मंगाने के लिए तीनों माध्यमों जैसे कि UPI (Unified Payment Interface), AEPS (Aadhar Enabled Payment System) और USSD (Unstructured Supplementary Service Data) आदि के लिए सिर्फ एक भीम एप का उपयोग करना होगा।

भीम एप – विशेषताएँ

  • इस एप के माध्यम से आप किसी से पैसे मंगाने के लिए निवेदन भी कर सकते हैं तथा पैसे वापस भी भेज सकते हैं।
  • आप जब चाहे अपने बैंक बैलेंस और लेन-देन के विवरण की जाँच कर सकते हैं।
  • आप अपने फोन नंबर के अलावा एक कस्टम भुगतान पता बना सकते हैं।
  • आप भुगतान पतों की तेजी से प्रवेश के लिए एक QR कोड को स्कैन कर सकते हैं। व्यापारी प्रदर्शन के लिए QR कोड आसानी को आसानी से प्रिंट कर सकते हैं।
  • एप के माध्यम से अभी अधिकतर 10000 रुपये प्रति लेनदेन अथवा 20000 रुपये प्रति 24 घंटे कि सीमा तय कि गयी है।
  • अभी के लिए हिंदी और अंग्रेजी भाषा में ही भीम एप को प्रयोग किया जा सकता है, जल्द ही अन्य कई भाषाओँ को भी एप में जोड़ दिया जाएगा।
UPI APP के बारे में अधिक जानकारी के लिए देखें https://upi.npci.org.in/static/faq/en_US/

नरेंद्र मोदी द्वारा 31 दिसंबर 2016 को शुरू की गयी नयी योजनाओं की सूची


प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने 31 दिसंबर 2016 को नए साल के भाषण के दौरान कई नयी योजनाओं की घोषणा की तथा कई पुरानी योजनाओं में बदलाव किये। नरेंद्र मोदी द्वारा की गई घोषणाओं में से अधिकांश योजनाएं पहले से ही चल रही थी लेकिन इन योजनाओं में बदलाव किये हैं। श्री नरेन्द्र मोदी ने अपने 45 मिनट के NYE भाषण में राष्ट्र को संबोधित किया और प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत सस्ते लोन के बारे में, गर्भवती महिलाओं के लिए योजना और बुढ़ापा नागरिकों व दूसरों के लिए बचत योजना की घोषणा की।
31 दिसंबर को नरेंद्र मोदी द्वारा की गयी मुख्य घोषणाओं की पूरी सूची नीचे दी गयी है।

31 दिसंबर को नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित योजनाएं

    1. कम ब्याज दरों पर होम लोन: PM आवास योजना से लाभार्थियों को 9 लाख रुपये तक लोन पर ब्याज में 4% राहत और 12 लाख रुपये तक के लोन पर 3% राहत दी जायेगी।
    2. ग्रामीण क्षेत्रों में नया घर बनाने अथवा घर के विस्तार के लिए 2017 में लिए गए 2 लाख रुपये तक के लोन पर ब्याज में 3% की छूट दी जायेगी।
    3. प्रधानमंत्री आवास योजना – ग्रामीण के तहत घरों के निर्माण की संख्या को 3 करोड़ से बढाकर 4 करोड़ कर दिया गया है अथवा 33% की वृद्धि कर दी गयी है।
    4. किसान को बीजों की बुआई के लिए इस रबी मौसम में जो कर्ज मिला है जिला सहकारी (district cooperative)और केंद्रीय बैंकों से उस क़र्ज़ के 60 दिनों तक के ब्याज का भुगतान सरकार करेगी।
    5. NABARD फंड 20,000 करोड़ रुपये 41,000 करोड़ रुपये कर दिया गया है जिससे किसानों को कम ब्याज दरों पर लोन मिलेंगे। और जो NABARD को नुकसान होगा उसे केंद्र सरकार द्वारा कवर किया जाएगा।
    6. अगले 3 महीने के भीतर 3 करोड़ किसान क्रेडिट कार्ड को रुपे कार्ड में परिवर्तित किया जायेगा। इससे एटीएम के माध्यम से पैसे निकालने और डिजिटल लेनदेन में और किसी भी स्थान पर खरीदने के लिए उन्हें सुविधा मिलेगी।
    7. छोटे व्यवसायी के लिए क्रेडिट गारंटी लिमिट 1 करोड़ रुपये से 2 करोड़ रुपये बढ़ा दी गई है। और गैर बैंकिंग वित्त संस्थाओं (NBFC) से लिया गया लोन भी इस के तहत कवर किया जाएगा।
    8. छोटे व्यवसायी और व्यापारियों के लिए आयकर विभाग द्वारा आयकर की गणना 8 फीसदी के बजाय 6 फीसदी से की जाएगी, अगर वे भुगतान के लिए डिजिटल मोड का उपयोग करें।
    9. गर्भवती महिलाओं को टीकाकरण, पौष्टिक भोजन के लिए 6000 रुपये की धन संबंधी सहायता। हर गर्भवती महिला को इस योजना के तहत सहायता मुहैया कराई जाएगी। राशि सीधे गर्भवती महिलाओं के बचत बैंक खाते में जमा कर दी जाएगी।
    10. वरिष्ठ नागरिकों को 7.5 लाख तक की FD पर कम से कम 8% सालाना ब्याज मिलेगा। ब्याज की राशि को हर महीने निकाला जा सकेगा।
    नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर को demonetization भाषण के बाद राष्ट्र को पहली बार संबोधित किया। नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गए योजनाओं के बारे में अधिक जानकारी जल्द ही उपलब्ध हो जाएगी।